जालौन के महिला जिला चिकित्सालय में मरीजों से अवैध वसूली के गंभीर आरोप सामने आए हैं। जिलाधिकारी राजेश कुमार पाण्डेय के औचक निरीक्षण में कई चौंकाने वाले खुलासे हुए।
ऑपरेशन के नाम पर मरीजों से मांगी जा रही रिश्वत
जिलाधिकारी के निरीक्षण के दौरान दो मरीजों ने बताया कि आशा कार्यकर्ताओं के माध्यम से उनसे ऑपरेशन के नाम पर 6 हजार रुपये की मांग की गई है। इस गंभीर शिकायत पर डीएम ने तत्काल संज्ञान लेते हुए मुख्य चिकित्साधिकारी को 48 घंटों के भीतर जांच रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने स्पष्ट किया है कि जांच में दोषी पाए जाने वाले आशा कार्यकर्ता, नर्स या सीएमएस के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
जच्चा-बच्चा वार्ड और इमरजेंसी वार्ड में मिलीं खामियां
जच्चा-बच्चा वार्ड और इमरजेंसी वार्ड के निरीक्षण में अस्पताल की व्यवस्थाओं में कई खामियां मिलीं। एक गर्भवती महिला को लंबे समय तक भर्ती न करने की शिकायत पर डीएम ने नाराजगी जताते हुए उसे तुरंत भर्ती कराया। वार्डों में साफ-सफाई की स्थिति भी संतोषजनक नहीं मिली, जिस पर उन्होंने कड़ी नाराजगी व्यक्त की।
जिलाधिकारी ने स्पष्ट किया कि मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं देना उनकी प्राथमिकता है और इसमें किसी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। निरीक्षण के दौरान मुख्य विकास अधिकारी राजेन्द्र कुमार श्रीवास, मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. नरेंद्र देव शर्मा, सीएमएस सुनीता बनौधा सहित अन्य अधिकारी मौजूद रहे।
(रोहित राजवैद्य की रिपोर्ट) Bundelivarta.com